Pakistan Blames India: दिल्ली के लाल किले के पास हुए धमाके के बाद पाकिस्तान ने भारत पर झूठा आरोप लगाकर दुनिया का ध्यान भटकाने की कोशिश की। भारतीय विदेश मंत्रालय ने इन आरोपों को निराधार और झूठा करार देते हुए पाकिस्तानी साजिश का पर्दाफाश किया।
नई दिल्ली: दिल्ली में लाल किले के पास सोमवार को हुए भीषण धमाके ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया था। इस घटना के बाद जब भारत की जांच एजेंसियां हर कोण से जांच में जुटी थीं, तब पाकिस्तान ने दुनिया का ध्यान भटकाने के लिए एक नई चाल चल दी। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने मंगलवार को इस्लामाबाद में हुए आतंकी हमले का आरोप भारत पर मढ़कर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गलत संदेश फैलाने की कोशिश की।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री कार्यालय ने एक्स (पूर्व ट्विटर) पर पोस्ट कर कहा कि “भारत-प्रायोजित फित्ना अल-ख़ावारिज़ और फित्ना अल-हिंदुस्तान द्वारा इस्लामाबाद जी-11 कचेहरी पर आतंकी हमला किया गया। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने इस हमले की कड़ी निंदा की है और शहीदों के लिए दुआ मांगी है।” उन्होंने यह भी कहा कि “दुनिया को भारत की इन शरारती साजिशों की निंदा करनी चाहिए।” शहबाज शरीफ ने आगे कहा कि “अफगानिस्तान से संचालित आतंकी गुटों ने भारत के भड़कावे में आकर पाकिस्तान को निशाना बनाया है। भारत क्षेत्र में आतंकवाद फैलाने का जिम्मेदार है।”
भारत का पलटवार – विदेश मंत्रालय ने खोली पाक की पोल
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री के इन आरोपों के बाद भारत ने सख्त प्रतिक्रिया दी। भारतीय विदेश मंत्रालय ने शहबाज शरीफ के आरोपों को झूठा, मनगढ़ंत और ध्यान भटकाने वाला बताया। मंत्रालय के प्रवक्ता रंधीर जायसवाल ने कहा कि पाकिस्तान की यह “पूर्वानुमानित चाल” है, जो हर बार अपने आंतरिक संकट से ध्यान हटाने के लिए भारत को निशाना बनाता है। जायसवाल ने कहा, “भारत पाकिस्तान के नेतृत्व द्वारा लगाए गए सभी निराधार आरोपों को स्पष्ट रूप से खारिज करता है। यह पाकिस्तान की एक सोची-समझी रणनीति है, जो अपने देश में चल रही सैन्य-प्रेरित संवैधानिक टूट-फूट और सत्ता संघर्ष से जनता का ध्यान भटकाने के लिए भारत के खिलाफ झूठे कथानक गढ़ता है।”
उन्होंने आगे कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय पाकिस्तान की इन हताशा-भरी हरकतों को अच्छी तरह समझता है और ऐसे झूठे प्रचार से प्रभावित नहीं होगा।
पाकिस्तान पर बढ़ रहा वैश्विक अविश्वास
विशेषज्ञों का मानना है कि पाकिस्तान की यह रणनीति कोई नई नहीं है। जब भी देश के भीतर अस्थिरता बढ़ती है या जनता में असंतोष फैलता है, तब वहां की सरकार भारत-विरोधी बयानबाजी का सहारा लेकर अपनी नाकामी छिपाने की कोशिश करती है। वर्तमान में पाकिस्तान में आर्थिक संकट, राजनीतिक अस्थिरता और सेना का बढ़ता दखल जनता में असंतोष को जन्म दे रहा है। गौरतलब है कि लाल किला ब्लास्ट की जांच जहां भारत में तेज़ी से आगे बढ़ रही है, वहीं पाकिस्तान की इस बयानबाजी को विशेषज्ञ भारत की छवि को धूमिल करने का असफल प्रयास मान रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पाकिस्तान की विश्वसनीयता पहले ही संदिग्ध रही है, और ऐसे झूठे आरोप उसकी स्थिति को और कमजोर कर रहे हैं।
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